नक्सलवाद: गृहमंत्री अमित शाह के बयान पर CM बघेल का पलटवार, दिया ये जवाब
Naxalism in Chhattisgarh- संसद में केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) के नक्सलवाद (Naxalism) को लेकर दिए बयान पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (CM Bhupesh Baghel)…
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Naxalism in Chhattisgarh- संसद में केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) के नक्सलवाद (Naxalism) को लेकर दिए बयान पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (CM Bhupesh Baghel) ने पलटवार किया है. सरगुजा दौरे के बाद रायपुर पहुंचे बघेल ने बुधवार को कहा कि नक्सलवाद देश में सिमटा है और सबसे ज्यादा छत्तीसगढ़ में ही था, यह बात बिल्कुल सही है, लेकिन छत्तीसगढ़ में भी अब सिमट गया है.
मीडिया से चर्चा के दौरान उन्होंने कहा कि प्रदेश में नक्सलवाद बहुत कम क्षेत्रों में रह गया है. धीरे-धीरे नक्सलवाद खत्म हो रहा है. अमित शाह ने कहा था कि देश में नक्सलवाद समाप्त हो चुका है, लेकिन छत्तीसगढ़ के तीन जिलों में नक्सलवाद है.इस पर मुख्यमंत्री बघेल ने कहा कि प्रदेश की भौगोलिक स्थिति दूसरे किस्म की है, जिसका लाभ नक्सली उठाते हैं.
‘सीमावर्ती राज्यों में भी है नक्सलियों की मौजूदगी’
सीएम बघेल ने कहा कि ओडिशा, आंध्रप्रदेश, तेलंगाना, महाराष्ट्र, मध्यप्रदेश से छत्तीसगढ़ घिरा है. यहां कार्रवाई करते हैं, तो नक्सली पड़ोसी राज्यों में भाग जाते हैं. वहां कोई कार्रवाई होती है, तो यहां आकर छिप जाते हैं. केवल छत्तीसगढ़ में नहीं, बल्कि सीमावर्ती राज्य है, वहां भी नक्सलियों की उपस्थिति है.
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शाह ने दिया था ये बयान
लोकसभा में अविश्वास प्रस्ताव पर जवाब देते हुए केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने बुधवार को बताया था कि देश में वामपंथी उग्रवाद या नक्सलवाद सिर्फ छत्तीसगढ़ के तीन जिलों तक सिमट कर रह गया है. आतंकवाद और नक्सलवाद पर अंकुश लगाने के लिए मोदी सरकार की ओर से उठाए गए कदमों पर केंद्रीय गृह मंत्री शाह ने कहा कि मोदी सरकार में वामपंथी उग्रवाद, नक्सलवाद सिमट कर रह गया है. शाह ने कहा कि वामपंथ उग्रवाद जब आया तब वे काठमांडू से तिरुपति तक का स्वप्न देखते थे. लेकिन आज वे तीन जिलों तक सिमट कर रह गए हैं. उनका दायरा पहले झारखंड, बिहार, ओड़िसा, महाराष्ट्र, तेलंगाना, आंध्रप्रदेश और छत्तीसगढ़ तक था. मगर आज ये केवल छत्तीसगढ़ के तीन जिलों में ही बचे हुए हैं.
शाह ने कहा, “वामपंथी उग्रवाद पर हमने नकेल कसा. 2014 से वामपंथी उग्रवाद के खिलाफ मोदी सरकार ने जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाई है. पहले हमारी सरकार ने वहां विकास पहुंचाया, वहां बिजली पहुंचाई.” शाह ने नक्सलग्रस्त इलाकों में लगातार सुरक्षाबलों के कैंप खोलने की भी बात कही. उन्होंने बताया कि एनआईए औऱ ईडी को भी नक्सलियों के खिलाफ अभियान में जोड़ा गया. बस्तर बटालियन बनाई गई.
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