सुकमा रेप केस: कांग्रेस का पलटवार- मणिपुर से ध्यान भटका रही है भाजपा, यह ‘जांच दल’ नहीं ‘बचाव दल’ है

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27 Jul 2023 (अपडेटेड: Jul 27 2023 8:14 AM)

छत्तीसगढ़ के सुकमा जिले के एर्राबोर में नाबालिग छात्रा से हुए बलात्कार के मामले में कांग्रेस और भाजपा एक-दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप लगा रही हैं. भाजपा…

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छत्तीसगढ़ के सुकमा जिले के एर्राबोर में नाबालिग छात्रा से हुए बलात्कार के मामले में कांग्रेस और भाजपा एक-दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप लगा रही हैं. भाजपा जहां प्रदेश की भूपेश सरकार के खिलाफ मामले में लीपापोती करने का दावा कर रही है. तो वहीं कांग्रेस ने भाजपा के आरोपों को मणिपुर हिंसा से ध्यान हटाने की साजिश करार दिया. बता दें कि दुष्कर्म मामले में आरोपी की गिरफ्तारी हो चुकी है, लेकिन भाजपा कवासी लखमा के इस्तीफे पर अड़ी है. वहीं पार्टी ने इसे लेकर पांच सदस्यीय जांच दल को एर्राबोर भी भेजा. लेकिन जांच दल का आरोप है कि उन्हें पीड़ित परिवार से मिलने नहीं दिया गया.

भाजपा के आरोपों पर कांग्रेस प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि भाजपा मणिपुर की घटना से ध्यान भटकाने के लिए इस मुद्दे को उठा रही है. उन्होंने बताया कि मामले में पूरी कार्रवाई हो रही है. आरोपी को सलाखों के पीछे भेजा जाएगा. पीड़िता को हर हाल में न्याय मिलेगा. लेकिन भाजपा मीडिया में बने रहने के लिए और मणिपुर की घटना से ध्यान हटाने के लिए यह सब कर रही है.

उन्होंने भाजपा पर तंज कसते हुए कहा कि भाजपा की ओर से जो जांच टीम बनाई गई है, असल में वह जांच दल नहीं बल्कि बचाव दल है. मणिपुर के मामले में वह अपना बचाव कर रहे हैं.

ठाकुर ने भाजपा के जांच दल को रोके जाने के आरोपों का भी खंडन किया.

बता दें कि दुष्कर्म मामले में भाजपा के कई नेता और कार्यकर्ता भूपेश सरकार में कैबिनेट मंत्री कवासी लखमा से इस्तीफे की मांग कर रहे हैं. वहीं इस मामले में गठित पांच सदस्यीय जांच टीम बुधवार देर शाम जगदलपुर पहुंची. पोटाकेबिन में हुई घटना को लेकर भाजपा प्रदेश अध्यक्ष अरूण साव ने पांच सदस्यी जांच टीम का गठन किया है, जिसने सुकमा के एरार्बोर पोटकेबिन जाकर जांच की मगर भाजपा की जांच टीम को पीड़ित परिवार से मिलने नही दिया गया. टीम का आरोप है कि महिला पुलिस बल लगाकर जांच दल को रोका गया.

भाजपा कार्यालय में मीडिया से बातचीत करते हुए जांच दल के सदस्यों ने बताया कि पोटकेबिन में बच्चियों को ठूस-ठूस कर रखा गया है. ना वहां सुरक्षा के कोई इंतेज़ाम हैं और ना ही परिसर में सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं. बच्चियों की सुरक्षा करने वाला कोई नही हैं. जांच टीम ने कहा कि मंत्री कवासी लखमा के क्षेत्र में आदिवासी बच्ची के साथ दुष्कर्म किया जाता हैं और मंत्री खामोश हैं.घटना से यह साफ हो गया कि पोटाकेबिन में जो बच्चियां रह रही हैं वह बिल्कुल सुरक्षित नही हैं. ऐसे में अब पीड़िता को न्याय दिलाने के लिए भाजपा पीछे नही हटेगी.जांच दल के सदस्यों ने ऐसी घटना करने वालों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की मांग भी की हैं. जांच दल में पूर्व मंत्री लता उसेंडी,रंजना साहू,ओजस्वी मंडावी,सावित्री राजपूत और सुधीर पांडेय शामिल थे. जांच टीम अपनी रिपोर्ट प्रदेश भाजपा अध्यक्ष को सौंपेगी.

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