Lok Sabha Election: बस्तर में एक ऐसा गांव पालनार है जहां बीते 11 सालों से वोटिंग नहीं हुई है. इसके साथ ही 6 ऐसे गांव है जहां लोकसभा चुनाव 2024 में अब पहली बार वोटिंग होने जा रही हैं. हैरानी की बात है कि यहां के मतदाताओं को चुनाव की तारीख तक नहीं नहीं मालूम.. छत्तीसगढ़ की 11 लोकसभा सीटों में से बस्तर लोकसभा में 19 अप्रैल को मतदान होने जा रहा हैं. इसी दौरान बीजापुर के पालनार गांव के अलावा 6 और गांव है जहां इस बार पहली बार वोटिंग होगी. प्रशासन ने इसके लिए पूरी तैयारी कर रखी है. छत्तीसगढ़ Tak की टीम ने पालनार पहुंचकर यहां लोगों से जाना कि चुनाव को लेकर वे क्या सोचते है.
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पालनार में कैंप खोलना काफी मुश्किल था
वैसे तो पालनार गांव काफी समय से माओवादियों के प्रभाव में था, लेकिन कुछ महीने पहले ही यहां केंद्रीय रिजर्व बल की एक टुकड़ी को तैनात किया गया है. कैम्प स्थापित होते के बाद हालात में धीरे-धीरे सुधर रहे हैं. वहीं पुलिस अधिकारियों का दावा है कि पालनार में कैंप खोलना काफी मुश्किल था.
अपने अधिकारों के लिए करेंगे वोट
एक ओर मतदाता जागरूकता के नाम पर प्रशासन स्वीप कार्यक्रम के तहत् रैली-नुक्कड़ सभा और के अलावा पाम्पलेट-पोस्टर के जरिए प्रचार-प्रसार कर रही है, इसके उलट जिला मुख्यालय से लगभग 30 किमी दूर पालनार गांव में वोटरों को मतदान पर्ची का वितरण तक नहीं हुआ है. ये बात अलग है कि सलवा जुडूम के दौर में दूसरे गांवों की तरह यह गांव भी वीरान हो गया था. नक्सलियों के भय से लोग पलायन कर गए थे, लेकिन गांव अब फिर से बस रहा हैं. उम्मीद है कि लोकतंत्र इस महापर्व में पालनार की जनता भी अपने अधिकारों को लेकर खुलकर वोट जरूर करेगी.
बीजापुर से रंजन दास की रिपोर्ट, छत्तीसगढ़ तक
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